हिमालय पर्वत की गोद में बसा हुआ डलहौजी भारत के हिमाचल प्रदेश राज्य के चंबा जिले में स्थित खूबसूरत पहाड़ी पर्यटन स्थल है ।
सफेद बर्फ की चादरों से ढके पहाड़ और घुमावदार रास्ते के साथ शानदार प्राकृतिक वादियों के कारण साल भर पर्यटकों की अगुवाई करता है।
अगर आप भी डलहौज़ी हिल स्टेशन घूमने का प्लान बना रहे हैं तो आपको यह लेख काफी ज्यादा सहूलियत देगा एक ट्रैवल ब्लॉगर के रूप में मैं आपको बता सकता हूं कि डलहौजी में घूमने की जगह कौन-कौन से हैं ? डलहौजी कब जाना चाहिए ? कैसे पहुंचना है ? वहां रुकने तथा खाने-पीने की क्या व्यवस्था है और साथ में प्रति व्यक्ति डलहौजी घूमने का खर्च कितना लग जाता है ?
अगर आप भी कम बजट में भारत में रहकर स्विट्जरलैंड का आनंद उठाना चाहते हैं तो आपको निश्चित रूप से डलहौजी यात्रा पर जरूर जाना चाहिए यहां घूमने फिरने के लिए कई ऐसे जगह मौजूद है जो आपकी यात्रा को सुखद सफल और यादगार बनाने में काबिलियत रखते हैं।
चलिए विस्तार से जानते हैं डलहौजी में घूमने लायक जगह कौन कौन सी हैं
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Table of Contents
डलहौज़ी हिल स्टेशन में घूमने की जगह
यदि आप पहली बार डलहौज़ी यात्रा पर जा रहे हैं और वहां घूमने लायक शीर्ष स्थानों की सूची को अवश्य देखें-
1. खजियार

भारत का छोटा स्विट्ज़रलैंड कहा जाने वाला खजियार डलहौजी से कुछ ही दूरी पर स्थित है डलहौजी से जंगली गाड़िया रहा हूं और घुमावदार रास्तों से होकर जैसे थे खजियार के करीब पहुंचेंगे तो आपको बर्फ की चादरों से ढके हुए पहाड़ नजर आएंगे यहां अक्सर कपल्स हनीमून मनाने के लिए जाते हैं।
खजियार घूमने का सबसे बेस्ट समझ सर्दियों का होता है क्योंकि उस दौरान भारी बर्फ गिरती है जिसके वजह से वहां के सभी एडवेंचर स्पोर्ट्स चालू हो जाते हैं ।
खजियार में पर्यटक पैराग्लाइडिंग, इसकिंग, कैंपिंग, ट्रैकिंग, ट्यूबलाइट, ज़ोरबिंग, घुड़सवारी चमेरा लेक की वोटिंग, रॉक क्लाइंबिंग जैसी और भी अन्य गतिविधियों का आनंद उठा सकते हैं।
2. चमेरा लेक

डलहौजी में घूमने के लिए एक चमेरा झील है जो पर्यटकों की पसंदीदा जगह है खास करके उन लोगों के लिए जो नाव की सवारी और पानी में होने वाले वाटर स्पोर्ट्स जैसी गतिविधियों में रुचि रखते हैं।
डलहौजी से 25 किलोमीटर दूरी पर स्थित चमेरा एक प्राकृतिक झील है जिसके चारों तरफ ऊंचे ऊंचे हिमालय की घाटियां और पीर पंजाल के जंगल इसकी शोभा बढ़ाते हैं।
3. पैराग्लाइडिंग

डलहौजी की यात्रा को ज्यादा रोमांचक बनाने के लिए वहां होने वाले पैराग्लाइडिंग जैसी गतिविधियों का आनंद जरूर उठाना चाहिए इसके लिए अनुकूलित समय सितंबर से नवंबर तथा सर्दियों में जनवरी और ग्रीष्म काल में जून का महीना आदर्श माना जाता है।
4. रिवर क्रॉसिंग और रिवर राफ्टिंग
डलहौजी में पर्यटकों की सबसे ज्यादा पसंदीदा जगहों में से एक रावी नदी, साल नदी, तथा चंबा नदी है इन तीन प्रमुख नदियों में प्रतिदिन हजारों टूरिस्ट रिवर क्रॉसिंग तथा रिवर राफ्टिंग जैसी गतिविधियों का आनंद लेते हैं और यह प्रशिक्षित सरकारी संगठन के द्वारा चलाया जाता है।
5. रॉक गार्डन ( जिपलाइन)
शांत वातावरण में पार्टनर या गर्लफ्रेंड के साथ अक्सर यहां कपल घूमने जाते हैं और कुछ समय यहां बैठकर प्राकृतिक नैसर्गिक खूबसूरती का आनंद उठाते हैं ।
यह जगह उन लोगों के लिए और भी ज्यादा खास बनाती है जो हिम्मत बाले और साहसिक है क्योंकि यहां जिपलाइन जैसी गतिविधि कराई जाती है।
6. पंचपुला

डलहौजी के पंचपुला में 7 धाराओं में बहने वाला एक खूबसूरत प्राकृतिक झरना हैं और आसपास के पहाड़ी तथा दुर्गम रास्ते पूरी तरह से बर्फ से ढंके होते हैं ।
उसके साथ ही साथ यहां एडवेंचर एक्टिविटी करने के लिए काफी कुछ है जिस का लुफ्त उठा सकते है खास तौर पर पंचपुला की प्रसिद्द जिपलाइन जो की पूरे भारत में प्रसिद्द में है ।
यहां पर एक प्राकृतिक जल कुंड भी है जिसके निर्मल जल में चमकते हुए पत्थरों को देखना बहुत ही आकर्षक लगता है और इसके स्थान से पूरे डलहौजी शहर को स्वच्छ पानी की सप्लाई की जाती है।
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7. गंजी पहाड़ी
पंचपुला से बर्फीली पहाड़ी दुर्गम रास्ते से पैदल ट्रैकिंग करते हुए पर्यटकों के मन को छू लेने वाले वादियां और चारों तरफ बर्फ से ढके हुए पहाड़ो में चलने का एक अलग मजा होता है और ऊपर से जो नजारा दिखाई देता है वो बहुत ही यादगार पालो में से एक होता है गंजी पहाड़ी में पहुंचते हैं तो उन्हें प्रकृति का अद्भुत नजारा दिखाई देता है जो स्वर्ग जैसा प्रतीत होता है।
8. रॉक क्लाइंबिंग
डलहौज़ी से 5 किलोमीटर दूर खजियार साहसिक गतिविधियों के लिए जाना जाता है इसी में से एक रॉक क्लाइंबिंग एक विशेष गतिविधि है जिसमें रस्सी के सहारे पहाड़ों में चढ़ना होता है आप चाहें तो वहां से पैकेज लेकर जिस का लुफ्त उठा सकते हैं।
9. डायनकुंड पीक

डलहौजी की सबसे ऊंची चोटी डाई कुंड में हर साल सर्दियों के मौसम में भारी बर्फबारी होती है यहां के सुंदर रंग बिरंगे फूल, प्राकृतिक नजारे और हरी-भरी घाटियों से सुसज्जित जगह जगह से बहते हुए कई झरने मनोरम दृश्य प्रदान करते हैं।
कैंपिंग उत्साही लोगों के लिए डायनकुंड पीक आदर्श स्थान है यहां आप कैंपिंग के साथ-साथ ट्रैकिंग और एडवेंचर का भरपूर आनंद उठा सकते हैं।
खास तौर पर हनीमून कपल के लिए यह जगह अत्यंत ही सुंदर है यहां के शांत माहौल में अपने चाहने वालों के साथ एक अच्छा समय व्यतीत कर सकते हैं।
10. तिब्बती बाजार
सर्दियों में पहने जाने वाले पारंपरिक कश्मीरी कपड़े जैसे साल, जैकेट, टोपी, कालीन, ब्लैंकेट हस्तशिल्प कला की वस्तुएं तथा लड़कियों के लिए विभिन्न प्रकार के कपड़े जूते अन्य हिल स्टेशनों के अलावा डलहौजी के तिब्बती बाजार में काफी कम दामों पर मिल जाते हैं।
इतना ही नहीं आप अपने चाहने वालों के लिए यहां से गिफ्ट के तौर पर हस्तशिल्प कला से बनी हुई सुंदर लकड़ी के उपहार अपने साथ खरीदारी करके ले जा सकता है।
11. चामुंडा देवी मंदिर
डलहौजी केवल अपनी खूबसूरत वादियों के लिए नहीं पहचाना जाता बल्कि यहां का प्रसिद्ध धार्मिक स्थल मां चामुंडा देवी मंदिर पूरे भारत में प्रसिद्ध है।
देवी काली को समर्पित यह मंदिर डलहौजी का प्रसिद्ध धार्मिक स्थल है यह वही स्थान है जहां देवी पार्वती ने अंबिका रूप धारण करके चंड मुंड नामक दो राक्षसों का वध की थी।
यहां देवी के दर्शन के साथ-साथ पहाड़ी शिखर से दूर-दूर तक हिमालय पर्वत को बर्फ से ढके हुए पहाड़ों के साथ फोटोग्राफी भी कर सकते हैं।
12. गरम सड़क
डलहौजी में गांधी चौराहा और सुभाष चौक को जोड़ने वाली एक रोड है जो सुंदर दृश्य प्रस्तुत करते हैं यहां के ऊंचे ऊंचे हिमालय वृक्ष, घटिया, वादियां और वनस्पतियों से भरपूर जंगल साथ में तिब्बती रॉक पेंटिंग पर्यटकों को डलहौजी घूमने का यादगार लम्हा प्रस्तुत करते हैं।
13. मणिमहेश
कैलाश पर्वत के निकट स्थित मणिमहेश भगवान शिव का निवास स्थान माना जाता है यहां मानसून के दौरान अगर सितंबर में दूर-दूर से तीर्थयात्री भगवान शिव के दर्शन करने के लिए आते हैं।
जय स्थान दर्शन के साथ साथट्रैकिंग प्रेमियों के लिए जन्नत से कम नहीं है इसकी 13 किलोमीटर की ट्रैकिंग यात्रा पर्यटकों को जरा भी थकान का अनुभव नहीं होने देती ।
14. कालाटॉप वन्य जीव अभ्यारण
देवदार के पेड़ों से ढका हुआ कालाटॉप वनजीव अभ्यारण डलहौजी में घूमने लग जगहों में से एक है अगर आप डलहौजी में एक अच्छे पिकनिक स्पॉट की तलाश में तो आपको काला टॉप वन्य जीव अभ्यारण जरूर जाना चाहिए। इस अभ्यारण में आप शे,र भालू ,चीता, हिरण, लकड़बग्घा, लंगूर और तेंदुआ के साथ-साथ कई प्रजातियों के पक्षियों को देख सकते हैं।
डलहौजी घूमने का खर्च
दोस्तों डलहौजी के 2 दिन के प्लान में अगर आप सामान्य होटल में रुकते हैं तब आप ₹3000 में आराम से डलहौजी को घूम लेंगे।
इस खर्च में केवल 2 दिन के होटल में रहने खाने तथा ट्रांसपोर्टिंग के खर्च को जोड़कर बताया गया है इसमें डलहौजी तक पहुंचने का खर्च या फिर कोई एडवेंचरर एक्टिविटी या शॉपिंग करते हैं तो इस लागत को हमने नहीं जोड़ा है।
डलहौज़ी कैसे जाये ?
- बाय ट्रेन – डलहौजी का नजदीकी रेलवे स्टेशन पठानकोट जंक्शन है जिसकी दूरी 85 किलोमीटर है
- बाय हवाई जहाज – नजदीकी हवाई अड्डा जम्मू एयरपोर्ट है इसकी दूरी 180 किलोमीटर है।
- बाय बस– दिल्ली के अजमेरी गेट से डलहौजी हिल स्टेशन के लिए प्रतिदिन नॉर्मल और वातानुकूलित बसों का आवागमन होता है आप अपनी सुविधा अनुसार इनका चयन कर सकते है.
इसके आगे का सफर बाय बस या फिर टैक्सी के माध्यम से करना पड़ता है क्योंकि डलहौजी हिमालय की ऊंची ऊंची घाटियों से घिरा हुआ है जिसके कारण वहां तक रेलवे और एयरपोर्ट की सुविधा उपलब्ध नहीं है।
FAQ- डलहौजी यात्रा के बारे में पूछे जाने वाले प्रश्न ?
Q.1 डलहौजी जाने का सही समय ?
वैसे तो डलहौजी ट्रिप पर पूरे साल जा सकते है लेकिन बर्फबारी केवल जनवरी के महीने में होती है अगर आपको भी स्नोफॉल देखना है और बर्फ में होने वाले खेल का आनंद लेना है तो जनवरी से अच्छा नजारा डलहौजी में आपको किसी भी मौसम में देखने को नहीं मिलेगा।
Q.2 डलहौजी में बर्फ कब पड़ती है ?
15 दिसंबर से जनवरी अंत तक डलहौजी में भारी बर्फबारी होती है और उस दौरान यहां के पेड़ पौधे पहाड़ और घरों का नजारा बेहद शानदार दिखाई देता है।
Q. 3 डलहौजी का टूर प्लान कितने दिन का बनाएं ?
दोस्तों अगर आप केवल डलहौजी और खजियार घूमना चाहते हैं तो 2 दिन पर्याप्त है लेकिन यदि डलहौजी को पूरे तरीके से एक्सप्लोर करना चाहते हैं तो आपको 4 दिन का ट्रिप बनाना ही पड़ेगा क्योंकि कुछ डलहौजी में घूमने लायक जगह काफी दूर-दूर हैं जिसमें ज्यादा टाइम लग जाता है।
आशा करता हूं इस लेख में आपको डलहौजी में घूमने लायक जगह से लेकर डलहौजी कब जाएं ,कैसे जाएं, कहां रुके ,वहां खाने-पीने की क्या व्यवस्था है और डलहौजी घूमने का कुल खर्च कितना लग जाता है इसका संपूर्ण विवरण हमने इस लेख में अच्छी तरह से दे पाया हूं.
आपकी यात्रा सुखद सफल और मंगलमय होने की कामना करता हूं
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